आज का शब्द: मुद्रा और गगन गिल की कविता- अँधेरे में बुद्ध

आज का शब्द: मुद्रा और गगन गिल की कविता- अँधेरे में बुद्ध


                
                                                                                 
                            'हिंदी हैं हम' शब्द श्रृंखला में आज का शब्द है- मुद्रा, जिसका अर्थ है- किसी के नाम की छाप, मोहर, रुपया, अशरफी आदि, सिक्का, खड़ा होने, बैठने आदि में शरीर के अंगों की कोई स्थिति। प्रस्तुत है गगन गिल की कविता- अँधेरे में बुद्ध 
                                                                                                
                                                     
                            

अँधेरे में बुद्ध 
अपनी प्रतिमा से निकलते हैं 

अपनी काया से निकलते हैं 
अपने स्तूप से निकलते हैं 
अस्थि-पुंज से निकलते हैं 

अँधेरे में बुद्ध 
परिक्रमा करते हैं 
माया की 
मोक्ष की 
पृथ्वी की 

काँटे की नोंक पर 
ठिठकते हैं 
अँधेरे में बुद्ध 

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7 hours ago



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