श्रम प्रवर्तन अधिकारी को रिश्वत लेने के आरोप में पकड़ा
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श्रम प्रवर्तन अधिकारी सुभाष भारती को पेट्रोल पंप संचालक से 50 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किय गया है। उन्होंने पेट्रोल पंप संचालक से शिकायतों का निस्तारण करने के लिए रिश्वत मांगी थी। आरोपी को विजिलेंस टीम ने बरेली ले गई है।
उसके खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम में केस केस दर्ज कर लिया गया है। विजिलेंस एएसपी अरविंद कुमार यादव ने बताया कि मूंढापांडे थाना क्षेत्र में लखनऊ-दिल्ली हाईवे पर स्थित रिलायंस वीपी मोबिलिटी लिमिटेड नाम से पेट्रोल पंप है। श्रम प्रवर्तन अधिकारी सुभाष भारती ने शिकायत मिलने पर पेट्रोप पंप का निरीक्षण किया था।
इसमें कई खामियां पाए जाने पर रिपोर्ट बनाकर आपत्तियां लगा दी गई थी। इन आपत्तियां का निस्तारण करने के लिए पेट्रोल पंप संचालक से 50 हजार की रिश्वत मांगी गई थी। आरोप है कि उन्होंने शिकायतकर्ता से कहा कि वह मांगे गए पैसे देते हैं तो रिपोर्ट खत्म कर दी जाएगी।
पंप संचालक ने इसकी शिकायत विजिलेंस टीम से की थी। इसके बाद यह कार्रवाई हुई। इससे पहले अगस्त में बिजली विभाग के क्लर्क शरद भटनागर को तीस हजार रुपये की रिश्वत लेते पकड़ा था। इस मामले में कटघर थाने में केस दर्ज किया गया था।
गलशहीद के भूड़े का चौराहा निवासी सिराज ने एंटी करप्शन ब्यूरो के अधिकारियों को बताया कि चचेरे भाई तालिब हुसैन दिल्ली में रहकर काम करते हैं। उनका परिवार शहर में ही रहता है। विभाग की टीम ने उनके घर से बिजली चोरी पकड़ी थी।
इसके कागजात लेकर सिराज शिवपुरी स्थित बिजली घर के क्लर्क शरद भटनागर से मिले थे। तब क्लर्क ने उनसे कहा था कि बीस हजार रुपये की रसीद कटेगी और दस हजार रुपये अतिरिक्त देने होंगे। आरोपी क्लर्क ने तीस हजार रुपये मांगे थे।
एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने तीस हजार रुपये के नोटों पर पाउडर लगाकर सिराज को दे दिए थे। उन्होंने जैसे ही शिवपुरी बिजली घर में जाकर क्लर्क को रुपये दिए टीम ने उसे पकड़ लिया।