एनआईए का छापा
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”ग़ज़वा-ए-हिंद” कट्टरपंथी मॉड्यूल के बहाने मुस्लिम युवाओं को आतंकी गतिविधियों में शामिल करने की कोशिश की जा रही है। एनआईए इसी तरह के मामलों में स्लीपर सेल तलाशने में जुटी है। तौहीद के यहां छापा भी इसी कवायद से जुड़ा एक प्रयास बताया जा रहा है।
दरअसल, पिछले साल बिहार पुलिस ने पटना के फुलवारी शरीफ क्षेत्र के मरगूब अहमद दानिश उर्फ ताहिर को गिरफ्तार किया था। 14 जुलाई 2022 को मामला एनआईए को जांच के लिए मिला। मरगूब पर आरोप साबित कर छह जनवरी 2023 को चार्जशीट दाखिल की गई।
पता लगा कि वह ग़ज़वा-ए-हिंद मॉड्यूल का सदस्य है। युवाओं को कट्टरपंथी बनाने के लिए पाकिस्तान से उसे प्रोत्साहित किया जा रहा था। वह सोशल मीडिया के जरिये देश में स्लीपर सेल स्थापित करने में जुटा था। कई व्हाट्सएप ग्रुप बनाकर उसने बांग्लादेशी नागरिकों को भी जोड़ा था।
कई संदिग्ध लोग पाकिस्तानी हैंडलर्स के संपर्क में थे और गजवा-ए-हिंद के विचार का प्रचार कर रहे थे। मरगूब से पूछताछ में एनआईए को कई इनपुट मिले। इसी के आधार पर समय-समय पर छापे मारे जा रहे हैं। इसी क्रम में एनआईए ने रविवार को तीन राज्यों के पांच स्थानों पर दबिश दी।