यूपी पुलिस
– फोटो : अमर उजाला
विस्तार
फर्जी तरीके से नौकरी पाने वाले छह न्यायिक कर्मचारियों को बर्खास्त कर दिया गया है। सभी के खिलाफ रिपोर्ट भी दर्ज कराई गई है। चंदौसी स्थित जिला न्यायालय संभल के प्रशासनिक अधिकारी राजेश कुमार की ओर से दी गई तहरीर में बताया गया है कि इन कर्मचारियों का चयन हाईकोर्ट की ओर से निकली ग्रुप डी की भर्ती के तहत किया गया था।
शैक्षिक प्रमाणपत्रों तथा अन्य तथ्यों के सत्यापन में पोर्टल पर कुछ कर्मचारियों की बायोमीट्रिक जानकारी नहीं मिली। इसकी सूचना हाईकोर्ट को दी गई। इस पर हाईकोर्ट से नियुक्ति के दौरान ली गई अभ्यर्थियों की बायोमीट्रिक हाजिरी की जानकारी उपलब्ध कराई गई।
इस जानकारी के आधार पर जिला जज के निर्देश पर प्रशासनिक टीम ने मिलान किया तो इन छह कर्मचारियों के फोटो अलग पाए गए। प्रशासनिक समिति इस की रिपोर्ट और हाईकोर्ट के आदेश पर जिला जज ने संभल के गरवारा गांव निवासी सोनू कुमार, रामपुर के स्वार में गांव चाऊपुरा निवासी दीपक कुमार के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई गई है।
इसके अलावा मुरादाबाद के मैनाठेर क्षेत्र के गांव मोहम्मदपुर बस्तरपुर निवासी रविंद्र सिंह, बिलारी के गांव मिलक काजी के सुभाष कुमार, बिजनौर के शिवाला कला थानांतर्गत शादीपुर मिलक गांव के आकाश कुमार और राम सिंह को बर्खास्त कर दिया।
जिला जज के निर्देश पर प्रशासनिक अधिकारी राजेश कुमार की ओर से भी इन सभी के खिलाफ चंदौसी कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराई गई है।
13 अभ्यर्थी नहीं पहुंचे थे ज्वाइन करने
इलाहाबाद हाईकोर्ट की ओर से कैडर ग्रुप सी-ग्रुप डी की भर्ती में 39 अभ्यर्थियाें का चयन संभल जिला न्यायालय के लिए हुआ था। इनमें से 26 अभ्यर्थी ही ज्वाइन करने के लिए चंदौसी जिला न्यायालय पहुंचे थे। 13 अभ्यर्थी ज्वाइन करने नहीं आए। ज्वाइन करने वालों में छह कर्मचारी फर्जी पाए गए हैं। ज्वाइन न करने वाले अभ्यर्थी भी संशय के घेरे में हैं।