सिख युवक ने पूरी की मरीन कमांडो ट्रेनिंग
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अमेरिका के एक 21 वर्षीय सिख युवक ने यूएस मरीन कॉर्प्स की ट्रेनिंग बिना अपनी दाढ़ी कटाए और अपनी धार्मिक मान्यताओं को छोड़े बिना पूरी की है। जसकीरत सिंह ने शुक्रवार को इतिहास रचते हुए सैन डिएगो में मरीन कॉर्प्स रिक्रूट ट्रेनिंग पूरी की। उल्लेखनीय है कि अप्रैल में अमेरिकी की एक संघीय अदालत ने सेना में कर्मियों को उनकी धार्मिक मान्यता के साथ सेवाएं देने का आदेश दिया था।
अदालत के फैसले से बनी राह
बता दें कि तीन सिख, यहूदी और मुस्लिम युवकों ने मरीन कमांडो की ट्रेनिंग के दौरान उनकी धार्मिक मान्यताओं का पालन करने की मांग को लेकर मुकदमा किया था। इसी मुकदमे पर संघीय अदालत ने अप्रैल में आदेश जारी किया था। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, अमेरिका की सेना और वायु सेना में सिख जवानों को भर्ती किया जाता है लेकिन नौसेना में सीमित संख्या में ही सिख जवानों को शामिल किया जाता है और इनमें से भी मरीन कमांडों की ट्रेनिंग के लिए काफी ज्यादा प्रतिबंध हैं। मरीन कमांडों की ट्रेनिंग के लिए जवानों को अपना सिर और दाढ़ी कटानी पड़ती थी, यही वजह है कि मरीन कमांडो की ट्रेनिंग में सिख सैनिकों को अपनी धार्मिक मान्यताओं को छोड़ना पड़ता था।
सिख जवान ने जताई खुशी
मिलिट्री डॉट कॉम ने सिख कोलिशन नामक गठबंधन के हवाले से लिखा कि जसकीरत सिंह सिख धार्मिक मान्यताओं के साथ मरीन कमांडो की ट्रेनिंग पूरी करने वाला पहला जवान है। जसकीरत सिंह ने भी अपनी धार्मिक मान्यताओं के साथ ट्रेनिंग पूरी होने पर खुशी जताई और अपनी बटालियन के जवानों को धन्यवाद दिया।