आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत
– फोटो : एएनआई
विस्तार
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की अखिल भारतीय समन्वय समिति की तीन दिवसीय बैठक बृहस्पतिवार से पुणे में होगी। इस बैठक को आगामी लोकसभा और इस साल होने जा रहे कई राज्यों के विधानसभा चुनावों के मद्देनजर बेहद अहम माना जा रहा है। राम मंदिर, सामाजिक समरसता, नारी सशक्तीकरण और शिक्षा पर भी चर्चा होगी। बैठक में संघ प्रेरित 36 संगठनों के 266 पदाधिकारी हिस्सा लेंगे। बैठक में संघ प्रमुख मोहन भागवत और संगठन महासचिव बीएल संतोष, भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा भी शिरकत करेंगे।
बैठक के संदर्भ में संघ के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर ने बताया कि इसमें बीते साल रायपुर में हुई बैठक के बाद लिए गए निर्णयों के आधार पर विभिन्न संगठनों के कार्यों की समीक्षा की जाएगी। संगठन आगे की कार्ययोजना भी बैठक में रखेंगे। विहिप राम मंदिर के संदर्भ में भावी योजन पेश करेगा। अलग-अलग क्षेत्रों में काम कर रहे संगठन भी अनुभव साझा करने के साथ भावी कार्ययोजना पेश करेंगे।
भुज में बनेगी भावी रणनीति
आरएसएस के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर ने कहा कि बैठक में आए विचारों पर इसी साल नवंबर में गुजरात के भुज में होने वाली संघ की कार्यकारी मंडल की बैठक में विमर्श के बाद भावी कार्ययोजना तैयार की जाएगी। इसी बैठक में संघ आगामी लोकसभा चुनाव की रणनीति पर भी अंतिम मुहर लगाएगा। बैठक हर साल होती है। इसमें सभी संगठन अपने क्षेत्र से जुड़े अनुभव सुनाने के बाद भावी कार्ययोजना पेश करते हैं। इस क्रम में देश की वर्तमान परिस्थितियों पर भी बातचीत होती है। हम देश और समाज से जुड़े सभी मुद्दों पर चर्चा करते हैं और इससे जुड़ी कार्ययोजना तैयार करते हैं।
अभियान के निष्कर्ष पर भी होगा मंथन
संघ बीते कुछ वर्षों से जातिगत भेदभाव खत्म कर सामाजिक समरस्ता स्थापित करने पर जोर देता रहा है। इस क्रम में पिछली कई अहम बैठकों में एक गांव-एक कुंआ-एक श्मशान अभियान शुरू किया गया था। इसके अलावा भी कई निर्णय लिए गए थे। समन्वय समिति की बैठक में इन अभियानों के निष्कर्षों पर चर्चा होगी। इसके अलावा भारतीय मूल्य के आधार पर महिला सशक्तिकरण के विकल्पों पर चर्चा होगी।