मुरादाबाद रेलवे स्टेशन पर सड़े आलू से तैयार समोसे दिखाते वेंडर
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मुरादाबाद रेलवे स्टेशन पर बिकने वाले समोसे और सब्जी जिन आलू से तैयार हो रहे हैं, वे सड़े हुए हैं। जिन चावलों से बिरयानी बनाई जा रही है, उनमें कीड़े लगे हैं। जब यह खाद्य सामग्री स्टेशन पर खरीदने वाले यात्रियों के पेट में जाएगी तो उनका क्या हाल होगा। यह सवाल हर उस यात्री की तरफ से है जो अपने बच्चों को भूख लगने पर रेलवे स्टेशन से खरीदकर खाना खिलाते हैं।
सवाल यह भी है कि क्या चंद रुपयों के लालच में उन लाखों यात्रियों के स्वास्थ्य से खिलवाड़ किया जा रहा है, जो रेलवे पर भरोसा करते हैं। वे सभी यात्री मुरादाबाद रेलवे स्टेशन की बदहाल व्यवस्था से अंजान हैं। इसका खुलासा तब हुआ जब स्टेशन पर काम करने वाले वेंडर ठेकेदारों के खिलाफ धरने पर बैठ गए।
उनकी मांग तो बस 10 में से तीन रुपये कमीशन की थी लेकिन पूरी नहीं हुई तो उन्होंने यह काला खेल उजागर कर दिया। लाइनपार क्षेत्र में रेलवे स्टेशन के प्रवेश द्वार और केजीके कॉलेज वाले पुल के पास ऐसे 10 से ज्यादा गोदाम हैं जहां ये घटिया सामान तैयार होता है।
इसके बाद वेंडर उसे अपनी टोकरियों में लेकर स्टेशन पर यात्रियों को बेच देते हैं। वेंडरों ने मीडिया के सामने एक-एक कर सभी दुकानों में जाकर आलू व चावल की स्थिति दिखाई। बड़े-बड़े भगोनों में उबले हुए आलू थे जो कि समोसे में भरने के लिए रखे थे। ये आलू ऊपर से काले पड़ चुके थे। छिपाने के लिए भगोनों को प्लास्टिक के कट्टों से ढककर रखा गया था। यही स्थिति चावल की थी।
केजीके पुल के पास नाले से सटाकर बनी हैं दुकानें
लाइनपार में केजीके पुल के पास नाले से सटाकर दुकानें बनी हैं। इन दुकानों का मुंह सड़क की ओर न खोलकर नाले की तरफ रखा गया है, जिससे खाद्य सुरक्षा विभाग के अधिकारियों को भनक न लगे। यूं तो रेलवे में भी कैटरिंग इंस्पेक्टर तैनात हैं, जिनकी जिम्मेदारी है कि स्टेशन पर बिकने वाली खाद्य सामग्री की जांच कराएं।
लेकिन अधिकारियों की नाक के नीचे ये सारा खेल चल रहा है। इसी तरह लाइनपार पार्किंग के बराबर में दो दुकानों की यही स्थिति है। वेंडरों ने कैमरे के सामने सबकी पोल खोलनी शुरू की तो कुछ लोग दुकानें बंद करके रफू चक्कर होने लगे।
रेलवे आज आरपीएफ के साथ चलाएगा अभियान
सारी हकीकत सामने आने के बाद रेलवे के अधिकारी आरपीएफ को साथ लेकर लाइनपार क्षेत्र में बृहस्पतिवार को अभियान चलाएंगे। इस तरह के अभियान यदि समय-समय पर निरंतर चलाए जा रहे होते तो यह स्थिति न होती। बहरहाल अब कुछ ठेकेदार वेंडरों को समझाने व कुछ उन्हें डराने धमकाने में लगे हैं। रेलवे के अभियान के बाद कई लोगों पर कार्रवाई हो सकती है।
यदि स्टेशन पर बेची जा रही खाद्य में खराब आलू व चावल का प्रयोग किया जा रहा तो इस मामले की जांच कराएंगे। दोषियों के खिलाफ रेलवे की ओर से कार्रवाई की जाएगी। – सुधीर सिंह, सीनियर डीसीएम