अमरोहा जिला अस्पताल में भर्ती मरीज
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मौसम में बदलाव के बाद भी बुखार का सितम बरकरार है। हर दिन बुखार लोगों की जान ले रहा है। अमरोहा के मोहल्ला मोती नगर निवासी शिक्षक सुरेश कुमार (46) की बुखार से मौत हो गई। वह मुरादाबाद के एक अस्पताल में भर्ती थे। वहीं, पीरगढ़ मोहल्ला में कबाड़ का काम करने वाले मेवाराम (55) ने भी बुखार के चलते दम तोड़ दिया।
हसनपुर के गांव रजोहा निवासी दशरथ सिंह की पत्नी कुसुम (40) और गजरौला के ढकिया भूड़ निवासी कंचन देवी (22) पत्नी राजवीर सिंह की बुखार आने से मौत हो गई। एक ही दिन में बुखार से चार लोगों की मौत से लोगों में दहशत बनी हुई है। अमरोहा के मोहल्ला मोती नगर निवासी सुरेश कुमार मुरादाबाद के मूडापांडे में एक मूक-बधिर स्कूल में स्पेशल एजुकेटर थे।
वह रोजाना अमरोहा से आना जाना करते थे। पिछले छह दिनों से उन्हें बुखार आ रहा था। पहले परिजनों ने उनका इलाज शहर के चिकित्सक से कराया, लेकिन तबीयत में सुधार न होने पर उन्हें मुरादाबाद के अस्पताल में भर्ती कराया गया। रविवार तड़के उन्होंने दम तोड़ दिया। वह अपने पीछे पत्नी दो बच्चाें को छोड़ गए हैं।
मोहल्ला पीरगढ़ निवासी मेवाराम कबाड़ का काम करते थे। चार दिनों से उन्हें बुखार आ रहा था। स्थानीय चिकित्सकों से आराम न होने पर परिजनों ने उन्हें मुरादाबाद के एक अस्पताल में भर्ती कराया। जहां रविवार दोपहर उनकी मौत हो गई। हसनपुर के गांव रजोहा निवासी दशरथ सिंह प्राइवेट लाइनमैन हैं।
उनकी पत्नी कुसुम को पांच दिनों से बुखार आ रहा था। शुरू में तो परिजनों ने हसनपुर के निजी चिकित्सक से उपचार करवया। लेकिन हालत में सुधार नहीं हुआ तो शुक्रवार को गंभीर हालत में मेरठ ले जाया गया। जहां उपचार के दौरान शनिवार की रात को मौत हो गई। उधर, गजरौला के गांव ढकिया भूड़ निवासी कंचन देवी पत्नी राजवीर को कई दिन पूर्व आया था।
परिजन ने शनिवार को कंचन को गजरौला के अस्पताल में इलाज कराया, रात में उसे घर ले गए। लेकिन सुबह के समय उसकी मौत हो गई। एक दिन में चार मौत से होने लोगों में बेचैनी बढ़ी हुई है। सीएमओ डॉ. एसपी सिंह ने बताया कि बुखार से मौत होने का कोई मामला संज्ञान में नहीं आया है। जिला अस्पताल में जो मरीज बुखार या डेंगू के भर्ती हैं। सभी को समुचित इलाज दिया जा रहा है।
लगातार फुल चल रहे जिला अस्पताल के वार्ड
बुखार का प्रकोप लगातार बढ़ रहा है। रविवार को छुट्टी का दिन होने के बाद भी जिला अस्पताल के जनरल व इमरजेंसी वार्ड फुल रहे। दोनों वार्ड में 92 मरीज भर्ती थे। हर दिन की तरह एक-एक बेड पर दो-दो मरीज भर्ती थे। मरीज अधिक होने से अस्पताल में स्वास्थ्य सेवाएं बेपटरी होती नजर आ रही हैं। अलग से व्यवस्था न होने के चलते मरीज बेहाल हो रहे हैं। जबकि, डेंगू वार्ड में भी 17 मरीजों का इलाज चल रहा है।
गारबपुर में बुखार से प्रधान समेत पचास से अधिक बीमार
आदमपुर क्षेत्र में बुखार का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। गांव गारबपुर में बुखार से प्रधान समेत पचास से अधिक लोग बीमार है। जिससे ग्रामीणों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। लेकिन स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का इस तरफ कोई ध्यान नहीं है। हसनपुर ब्लॉक के गांव गारबपुर में बुखार का प्रकोप बढ़ता जा रहा है।
निजी चिकित्सकों के यहां उपचार के लिए मरीजों की भीड़ लगी हुई है। गांव में अतुल शर्मा, सतपाल, कमलेश, हरीराज, सरोज, यश, शनि, धर्मपाल पुर्व प्रधान, विजय सिंह, कोशिंदर, शोभा, रूपराम, काजल, मिंटू, मनवीर, शकील, प्यारे, सुनीता, भगवती, रनवीर, ग्राम प्रधान राजवीर सिंह आदि लोग बीमार हैं।
सभी का उपचार ढबारसी में स्थित अलग अलग निजी अस्पताल में चल रहा है। ग्रामीणों का कहना है कि गांव फैली बीमारी को लेकर उच्च अधिकारियों को अवगत करा दिया गया है। सीएचसी हसनपुर के चिकित्साधीक्षक डॉक्टर ध्रुवेंद्र सिंह का कहना है कि गांव गारबपुर में बुखार फैलने की जानकारी नहीं है।
यदि ऐसा है तो गांव में कैंप लगाकर दवाओं का वितरण कराया जाएगा। रोजाना स्वास्थ्य विभाग की टीम किसी ना किसी गांव में कैंप लगाकर दवाओं का वितरण कर रही है। लोगों को सोने के लिए मच्छरदानी का प्रयोग करने की सलाह दी जा रही है। सफाई का विशेष ध्यान रखने के लिए कहा जा रहा है।