Deoria Mass Murder
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देवरिया के फतेहपुर गांव के गई घरों में रोजमर्रा की चीजें नहीं मिलने से दिनचर्या प्रभावित हो रही है। घटना के बाद से ही गांव में फेरी वाले भी नहीं आ रहे हैं। गांव में दहशत है। पुलिस के कड़े पहले के बीच रोजमर्रा के सामान भी न मिल पाने से लोगों को नवरात्र का पर्व फीका पड़ने की आशंका सताने लगी है।
रविवार से शुरू हो रहे नवरात्र में गांव में प्रतिमा स्थापना को लेकर संशय बना है। शनिवार को गांव के बाहर भटौली गांव निवासी नगीना निषाद पहुंचे। वह मोपेड से घर-घर जाकर सब्जी बेचते हैं। गांव के मोड़ पर पुलिस का पहरा देख लौट गए। उन्होंने कहा कि हर मोड़ पर पुलिस जांच कर रही है।
ऐसे में गांव में जाने पर भय बना है। घटना के 12 दिन बीतने के बाद भी हालात सामान्य नहीं देख रहे। बच्चों का खिलौना बेचने वाले भी गांव में नहीं जा रहे। अभयपुर गांव की महिला प्रभावती देवी ने कहा कि लेहड़ा और अभयपुर टोलों पर दो जगह दुर्गापूजा में पंडाल में प्रतिमाएं स्थापित होती हैं।
घटना के बाद गांव के अधिकांश पुरुष घर छोड़कर फरार हो गए है, घरों पर महिला और बच्चे हैं। इस बार नवरात्र में देवी पंडाल सजाया जाना मुश्किल लग रहा है। जमीन को लेकर हुए सामूहिक हत्याकांड में पूरे गांव के लोग पिस रहे हैं।