सहस्र चंद्र दर्शनम से जुड़ा है ये उपहार
सहस्र चंद्र दर्शनम का अर्थ हजार पूर्ण चंद्रमाओं के दर्शन करने से हैं। जो व्यक्ति हजार पूर्णिमा देख लेता है उसे यह उपहार दिया जाता है। ऐसा लगभग व्यक्ति की उम्र 80 साल और 8 महीने होने के बाद होता है। एक वर्ष में 12 पूर्णिमा होती है। प्रत्येक वर्ष में 2 पूर्णिमा तिथि अधिक होती है। ऐसे में 80 साल 8 महीने के बाद व्यक्ति 1000 पूर्णिमा देख लेता है। ये उपहार हिंदू परंपरा का हिस्सा है।
क्या है दृष्टसहस्त्रचन्द्रो?
हिंदू परंपराओं में सहस्त्र पूर्ण चंद्रोदयन के मौके पर दस अलग-अलग तरह की वस्तुओं को दान देने की परंपरा है। इसमें गौदान, भूदान, तिलदान, हिरण्यादान यानी सोने का दान, अजयदान यानी घी का दान, धान्यदान यानी चावल का दान, वस्त्रदान, गुड़दान, रौप्यदान यानि चांदी का दान, और लवणदान यानी नमक के दान कि परंपरा रही है। तिलदान (तिल के बीज का दान) के लिए तमिलनाडु से लाए गए तिल या सफेद तिल के बीज दिए हैं। हालांकि गौदान के स्थान पर पीएम मोदी ने चांदी से बना नारियल दिया है, जो गाय के दान की जगह पर प्रयोग में लाया जाता है।
क्यों है खास ये उपहार
उपहार रखने वाला चंदन का ये खास बॉक्स भी हिंदु परंपरा में पवित्रता और मानसिक शांति का प्रतीक है। लेकिन यहां चंदन की लकड़ी से बना बॉक्स भूदान के तौर पर प्रयोग किया जाता है। वैसे ही चंदन के इस बॉक्स में भगवान गणेश की मूर्ति है, जिन्हें विघ्नहर्ता माना जाता है और सभी देवताओं में उनकी पूजा सबसे पहले होती है। हिरण्यादान के लिए इस बॉक्स में 24 कैरेट की शुद्धता वाली सोने का सिक्का है। रौप्यदान के रूप में चांदी का सिक्का भी शमिल है।
हर दान का महत्व
हिंदु परंपरा में हर दान का अपना महत्व है। आइए जानते हैं प्रमुख दान के बारे में।
गौदान- गौ माता में सभी देवी-देवताओं का वास माना गया है। गौ माता की पूजा से पापों का हरण और कष्टों का निवारण हो जाता है।
इसी कारण गौ सेवा या गौ दान से व्यक्ति को अक्षय फल की प्राप्ति होती है। गौ माता को धन माना जाता है ऐसा इसलिए क्योंकि गौ माता में लक्ष्मी मां का भी वास होता है और लक्ष्मी मां धन की देवी हैं। गौदान के स्थान पर इस बाक्स में चांदी का नारियल रखा है जिसे गौदान के बराबर माना जाता है।
तिल दान- हिंदु परंपरा का तिल के दान का भी विशेष महत्व है। तिलदान करने से सूर्य देव की कृपा से धन और धान्य बढ़ता है और शनि दोष भी दूर होता है। इसके पीछे एक कथा ये भी है जब सूर्य देव शनि देव के घर पहुंचे थे तो शनि देव ने काले तिल से उनका स्वागत किया था।
गुड़ दान- गुड़ के दान का भी हिंदु धर्म में विशेष महत्व है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार गुड़ का दान करने से तीन ग्रहों सूर्य, गुरु और शनि के दोष दूर होते हैं।