मुकेश अंबानी का परिवार
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रिलायंस के चेयरमैन मुकेश अंबानी ने शेयरहोल्डर्स को संबोधित करते हुए पिछले एक साल में कंपनी की ओर से उठाए गए जरूरी कदम और आने वाले समय में कंपनी की योजनाओं की जानकारी दी। अपने 46वें AGM में कंपनी ने बोर्ड में बड़े बदलाव का एलान किया है। नीता अंबानी ने कंपनी के बोर्ड से अलग होने का फैसला किया है। वहीं कंपनी ने बताया कि आज बोर्ड बैठक में इस बदलाव को मंजूरी दी गई है।
बोर्ड ने नीता अंबानी का इस्तीफा किया स्वीकार
बोर्ड में इस बदलाव के बारे में एक्सचेंजों के बारे में कंपनी ने जानकारी दिया कि आकाश अंबानी, अनंत अंबानी और ईशा अंबानी को रिलायंस इंडस्ट्रीज के बोर्ड में शामिल करते हुए नॉन-एग्जीक्युटिव डायरेक्टर पद पर नियुक्ति करने की मंजूरी दी गई है। साथ ही बोर्ड ने नीता अंबानी का इस्तीफे को भी स्वीकार किया है। नीता अंबानी ने रिलायंस फाउंडेशन को अधिक समय देने के लिए आरआईएल के बोर्ड से इस्तीफा देने का फैसला किया है। एशिया के सबसे अमीर व्यक्ति मुकेश अंबानी ने ऊर्जा से लेकर प्रौद्योगिकी क्षेत्र में काम करने वाली अपनी कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज की उत्तराधिकार योजना पर काम शुरू करते हुए सोमवार को अपने तीन बच्चों ईशा, आकाश और अनंत को कंपनी के निदेशक मंडल में नियुक्त किया। अब तक, तीनों बच्चे केवल परिचालन व्यवसाय-स्तर पर कंपनी में शामिल थे। उनमें से कोई भी भारत की सबसे बड़ी सूचीबद्ध कंपनी के बोर्ड में नहीं था।
पहली बार RIL के निदेशक मंडल में शामिल किए गए मुकेश अंबानी के तीनों संतान
कंपनी ने शेयर बाजार को दी सूचना में कहा कि निदेशक मंडल की सालाना आम बैठक से पहले एक बैठक हुई जिसमें जुड़वां बच्चों ईशा और आकाश के साथ-साथ अनंत को कंपनी के गैर-कार्यकारी निदेशक के रूप में नियुक्त करने को मंजूरी दी गई।
आकाश रिलायंस जियो इन्फोकाॅम तो ईशा रिलायंस रिटेल की संभाल रहीं कमान
पिछले साल, 66 वर्षीय टाइकून ने अपनी पहली संतान आकाश अंबानी को भारत की सबसे बड़ी मोबाइल फर्म, रिलायंस जियो इन्फोकॉम लिमिटेड का अध्यक्ष बनाया था। जियो इंफोकॉम जियो प्लेटफॉर्म्स की सहायक कंपनी है, जिसमें मेटा और गूगल की हिस्सेदारी है और अब भी मुकेश अंबानी इसकी अध्यक्षता संभाल रहे हैं। रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड जियो प्लेटफॉर्म्स की पैरेंट कंपनी है। आकाश की जुड़वां बहन, 31 वर्षीय ईशा अंबानी के पास रिलायंस रिटेल की कमान थी जबकि सबसे छोटे भाई अनंत को कंपनी के नए ऊर्जा व्यवसाय के लिए चुना गया था। भाई-बहन समूह की विभिन्न कंपनियों के बोर्ड में रहे हैं, लेकिन यह पहली बार है जब उन्हें मूल के बोर्ड में नियुक्त किया गया है। रिलायंस ने एक बयान में कहा कि शेयरधारकों की मंजूरी के बाद उनकी नियुक्ति उनके कार्यभार संभालने की तारीख से प्रभावी होगी।
बच्चाें के लिए रास्ता बनाने के उद्देश्य से नीता अंबानी ने बोर्ड से दिया इस्तीफा
रिलायंस मुकेश को अप्रैल 2029 तक पांच साल का एक और कार्यकाल देने के लिए शेयरधारकों की मंजूरी मांगी। उनकी पत्नी नीता कंपनी के बोर्ड में निदेशक थीं, लेकिन उन्होंने बच्चों के लिए रास्ता बनाने के लिए इस्तीफा दे दिया है। एजीएम के बाद रिलायंस की ओर से जारी बयान में कहा गया है, “निदेशक मंडल ने नीता अंबानी का बोर्ड से इस्तीफा स्वीकार कर लिया है। उन्होंने रिलायंस फाउंडेशन को भारत के लिए और अधिक प्रभावशाली और सक्षम बनाने के लिए नीता अंबानी की ओर से लिए गए फैसले का सम्मान किया है।” अमेरिका की आइवी लीग विश्वविद्यालय से पढ़े अंबानी परिवार की नई पीढ़ी को पिछले कुछ वर्षों में रिलायंस की तीन इकाइयों – तेल से लेकर रसायन, दूरसंचार और खुदरा क्षेत्र में नेतृत्व के पदों के लिए तैयार किया गया है। तीनों व्यवसाय आकार में लगभग समान हैं।