पूर्व विधायक रामेश्वर सिंह यादव।
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सपा के पूर्व विधायक रामेश्वर सिंह यादव के खिलाफ सतर्कता अधिष्ठान (विजिलेंस) ने आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने का केस दर्ज किया है। एटा से तीन बार विधायक रह चुके रामेश्वर सपा के मुख्य राष्ट्रीय महासचिव रामगोपाल यादव के करीबी हैं। रामेश्वर व उनके भाई जुगेंद्र सिंह यादव के खिलाफ 80 मुकदमें दर्ज हैं। एटा समेत कई शहरों में उनकी करोड़ों की संपत्तियां भी जब्त की जा चुकी हैं।
शासन ने रामेश्वर के खिलाफ खुली जांच के आदेश 23 फरवरी 2021 को दिए थे। विजिलेंस ने 20 फरवरी 2023 को शासन को अपनी जांच रिपोर्ट सौंपी। इसमें रामेश्वर पर आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने के आरोप सही पाए गए थे। विजिलेंस ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि रामेश्वर ने लोकसेवक के रूप में कार्य करते हुए कुल 95,82, 028 रुपये अर्जित किए थे।
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वहीं, इसी दौरान उन्होंने चल-अचल संपत्तियों को अर्जित करने और भरण-पोषण पर 4,09,51,902 रुपये व्यय किए। इस तरह उन्होंने अपनी कुल आय से 3,13,69,874 रुपये व्यय किए। इसे लेकर जांच एजेंसी ने रामेश्वर से जवाब-तलब किया तो उन्होंने संतोषजनक जवाब नहीं दिया। इस पर विजिलेंस ने मुकदमा दर्ज कर विवेचना शुरू करने की शासन से अनुमति मांगी थी। अनुमति मिलने पर विजिलेंस के आगरा सेक्टर में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है।
ईडी कर रहा है जांच
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) भी रामेश्वर व उनके भाई के खिलाफ जांच कर रहा है। दोनों के खिलाफ तीन वर्ष पूर्व मनी लॉड्रिंग एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया था। रामेश्वर ने 2014 में फर्रुखाबाद से लोकसभा का चुनाव भी लड़ा था। उनको हाल ही में गैंगस्टर के मुकदमे में गिरफ्तार कर जेल भेजा गया है। उनके दोनों बेटों प्रमोद व सुबोध को भी पुलिस गिरफ्तार करने के लिए तलाश रही है।