गोरखपुर कारखाना प्रशिक्षण केंद्र।
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पूर्वोत्तर रेलवे के यांत्रिक कारखाना में करीब दो हजार कर्मचारियों के न्यू पेंशन स्कीम का अंशदान सरकारी बैंक की बजाय एक निजी बैंक को दे दिया गया है। करीब छह महीने बाद जब कर्मचारियों को इसकी भनक लगी तो मामला पूर्वोत्तर रेलवे कर्मचारी संघ ने रेल प्रशासन के समक्ष उठाया गया। इसके बाद अब पूरे मामले की जांच विजिलेंस से कराई जा रही है।
उधर, रेल प्रशासन ने अब इस अंशदान के शेयरों को वापस सरकारी बैंकों में लाने के लिए एक नया फार्म भी जारी किया है। इस पर लिखा है-आप अपने शेयर की जांच कर लें। अगर अंशदान बदलने से असंतुष्ट हैं तो फिर सरकारी बैंक में ट्रांसफर कर दिया जाएगा।
जानकारी के मुताबिक, नई पेंशन स्कीम के तहत कर्मचारियों के वेतन से 10 प्रतिशत कटौती होती है। उस पर सरकार 12 प्रतिशत धन देती है। यह 22 प्रतिशत धनराशि सरकार खुले बाजार में निवेश करती है। पूर्वोत्तर रेलवे गोरखपुर के यांत्रिक कारखाना कर्मचारियों के अंशदान का 34.5 प्रतिशत एसबीआई, 32 प्रतिशत यूटीआई और 33.5 प्रतिशत एलआईसी में निवेश किया गया था। इन सरकारी बैंकों में निवेश के चलते कर्मचारियों को अपना अंशदान सुरक्षित होने का एहसास था। साथ ही इससे सरकारी बैंकों की पूंजी भी बढ़ी हुई थी।
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